1125 HAIGAS PUBLISHED TILL TODAY(04.09.15)......आज तक(04.09.15) 1125 हाइगा प्रकाशित Myspace Scrolling Text Creator

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रचनाएँ hrita.sm@gmail.comपर भेजें - ऋता शेखर मधु

Friday, 27 April 2012

गंगा जी आईं--हाइगा में





सारे चित्र गूगल से साभार

9 comments:

ANULATA RAJ NAIR said...

बहुत प्यारे हायेकु है ऋता जी...
मन को भा गए....

सस्नेह.

Kailash Sharma said...

बहुत सुंदर हाइगा....

Yashwant R. B. Mathur said...

बहुत ही खूबसूरत


सादर

रविकर said...

बढ़िया प्रस्तुति ।
बधाई ।
जय गंगे माँ ।।

virendra sharma said...

हाइगा आगे बढ़के खुद बोलते हैं ,पूरी ज़बान खोलते हैं .बधाई स्वीकार करें .

कृपया यहाँ भी पधारें रक्त तांत्रिक गांधिक आकर्षण है यह ,मामूली नशा नहीं
शुक्रवार, 27 अप्रैल 2012

http://kabirakhadabazarmein.blogspot.in/2012/04/blog-post_2612.html
मार -कुटौवल से होती है बच्चों के खानदानी अणुओं में भी टूट फूट
Posted 26th April by veerubhai
http://kabirakhadabazarmein.blogspot.in/2012/04/blog-post_27.html

डॉ. दिलबागसिंह विर्क said...

सुंदर हाइगा

जय गंगा मैया की

Anamikaghatak said...

बहुत सुंदर हाइगा जय गंगे

abhi said...

वाह!!!बहुत खूबसूरत हाईगा! :)

दिगम्बर नासवा said...

वाह ... गंगा के प्रवाह कों हाइगा में बाँधने का भागीरथ प्रयास ... सफल है आपका प्रयास ...